ईरोड में आयोजित 484वें नवीकरण पाठ्यक्रम का उद्घाटन समारोह संपन्न
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नागपुर/इरोड। केंद्रीय हिंदी संस्थान, हैदराबाद केंद्र द्वारा इरोड हिंदी प्रेमी मंडल के हिंदी प्रचारक/हिंदी अध्यापकों के प्रशिक्षण के लिए 19 मई से 29 मई 2025 तक ‘484वें नवीकरण पाठ्यक्रम’ का आयोजन ललिता नर्सरी एवं प्राइमरी स्कूल, थिलाई नगर इरोड में किया गया है। इस पाठ्यक्रम का उद्घाटन समारोह 19 मई को संपन्न हुआ। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता केंद्रीय हिंदी संस्थान, आगरा के निदेशक प्रो. सुनील बाबुराव कुळकर्णी ने की।
मुख्य अतिथि के रूप में बी. सुंदर नाथन, कार्यकारी सदस्य, दक्षिण भारत हिंदी प्रचार सभा त्रिची उपस्थित थे। इस अवसर पर पाठ्यक्रम संयोजक केंद्रीय हिंदी संस्थान, हैदराबाद केंद्र के क्षेत्रीय निदेशक प्रो. गंगाधर वानोडे एवं पाठ्यक्रम प्रभारी डॉ. फत्ताराम नायक एवं डॉ. दीपेश व्यास मंच पर उपस्थित रहे। इस नवीकरण पाठ्यक्रम में कुल 110 (महिला- 104 , पुरुष-06) प्रतिभागियों ने पंजीकरण कराया।
उद्घाटन समारोह में अतिथियों का स्वागत क्षेत्रीय निदेशक द्वारा किया गया। उपस्थित प्रतिभागियों ने अपनी जिज्ञासाएँ प्रस्तुत कहीं। इस नवीकरण पाठ्यक्रम से उनकी क्या अपेक्षाएँ हैं इस संबंध में बताया। प्रतिभागियों ने कहा कि उन्हें व्याकरण में तथा पढ़ने, लिखने तथा अभिव्यक्ति में कठिनाइयाँ महसूस होती हैं। दूसरे प्रतिभागी ने वर्ण के उच्चारण एवं व्याकरण की कठिनाइयों के बारे में बताया। रस, छंद, अलंकार पर चर्चा करने के लिए भी उपस्थित प्रतिभागियों ने निवेदन किया।
इस अवसर पर मुख्य अतिथि श्री सुंदर नाथन ने कहा कि आप सभी प्रतिभागियों को इसका लाभ प्रतिदिन उपस्थित होकर लेना चाहिए। अपनी व्याकरण संबंधी एवं जितनी भी कठिनाइयाँ आपको पढ़ने में, लिखने में होती हैं, उन सभी का निवारण होगा। इस आशा के साथ आप प्रतिदिन अपनी उपस्थिति दर्ज कराएँ। कार्यक्रम के अध्यक्ष सुनील बाबुराव कुळकर्णी ने कहा कि इस कार्यशाला में इतनी महिलाओं की संख्या देखकर उन्हें बहुत खुशी हो रही है तथा उन्होंने आशा है कि प्रतिभागियों की जितनी भी जिज्ञासाएँ हैं वे संस्थान के अध्यापक उन पर खरा उतरेंगे। क्षेत्रीय निदेशक प्रो. गंगाधर वानोडे ने कहा कि हमें पूरी आशा है कि इस कार्यशाला से आपको बोलने एवं लिखने में जितनी भी कठिनाइयाँ हो रही हैं उन सभी कठिनाइयों को दूर करने का हम भरसक प्रयास करेंगे।
कार्यक्रम का संचालन डॉ. फत्ताराम नायक ने किया तथा धन्यवाद ज्ञापन डॉ. दीपेश व्यास ने किया। संस्थान के साथी शेख मस्तान द्वारा सभी प्रतिभागियों का नामांकन एवं पंजीकरण किया। इस नवीकरण पाठ्यक्रम में क्षेत्रीय निदेशक, प्रो. गंगाधर वानोडे, सह आचार्य डॉ. फत्ताराम नायक, डॉ. दीपेश व्यास, डॉ. के. रामनाथन, डॉ. अन्बुमणि, डॉ. चंदु खंदारे विभिन्न विषयों पर अपने विचार व्यक्त करते हुए अध्यापन कार्य संपन्न करेंगे। उद्घाटन समारोह के बाद पूर्व-परीक्षण लिया गया तत्पश्चात विधिवत कक्षाएँ प्रारंभ हुईं।