आज गुरु पूर्णिमा महोत्सव
नागपुर। आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को गुरु पूर्णिमा का पावन पर्व हर्षोल्लास से मनाया जायेगा, इस बार गुरु पूर्णिमा 10 जुलाई गुरुवार को मनाई जायेगी, गुरु पूर्णिमा हिंदु संस्कृति में एक अत्यंत पावन पर्व माना गया है, यह दिन गुरु और शिष्य के रिश्ते की पवित्रता और उसके महत्व का प्रतीक माना जाता है।
शांतिनगर के पंडित सुनील शर्मा के अनुसार यह पर्व केवल पारंपरिक गुरु-शिष्य संबंध तक सीमित नहीं है, बल्कि आज के समय में माता-पिता, अध्यापक, आध्यात्मिक गुरु, का इस दिन विशेष सम्मान दिया जाता है, साथ ही, आषाढ़ शुक्ल पूर्णिमा को महर्षि वेद-व्यास का जन्म भी हुआ था और इसी वजह से इसे व्यास पूर्णिमा भी कहा जाता है।
इस बार पूर्णिमा तिथि बहुत ही खास रहने वाली है क्योंकि इस दिन गुरुवार के साथ इंद्र योग का भी निर्माण होगा, साथ ही, इस दिन भद्रा का साया भी रहेगा परंतु भद्रा के पाताल लोक में रहने के कारण इसका इस पर्व पर कोई असर नहीं पड़ेगा। इस दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठें और पवित्र स्नान करें, फिर घर के मंदिर को साफ करें, फिर एक वेदी पर अपने गुरु की प्रतिमा स्थापित करें, फिर, गुरु के समक्ष घी का दीपक जलाएं और उन्हें सफेद चंदन, अक्षत, फूल, जनेऊ, फल, मिठाई आदि चीजें चढ़ाएं, अंत में गुरु की आरती करें और उनका आशीर्वाद लें। गुरु का संबंध बृहस्पति देव से होता है, ऐसे में गुरु पूर्णिमा के दिन पीले वस्त्र पहनकर पूजा पाठ करने से भाग्य तेज और आर्थिक कार्यों में सफलता मिलती है.